योजना की जानकारी
यीशु मसीह के दृष्टांतनमूना
ज़रुरत के समय का मित्र
इस अंश में यीशु न केवल क्या प्रार्थना करना है (वचन 2-4) वो सीखा रहें हैं बल्कि कैसे प्रार्थना करना है उसके बारे में भी सीखा रहे हैं।
जो समय-सीमा हमारे मन में रहती है, यदि उस अवधि में हमें हमारी प्रार्थना का उत्तर नहीं मिलता, तो इस स्थिति में हम बहुत आसानी से हतोत्साहित हो जाते हैं। लेकिन परमेश्वर को हमारी समय-सीमा के अनुसार कार्य करने की आवश्यकता नहीं है!
किसी बात के लिए एक बार प्रार्थना करने के बाद, कितनी बार आप अपने आप को हारा हुआ पाते हो या प्रार्थना करना बंद कर देते हो? ऐसी कौन-सी प्रार्थनाएं हैं, जिनके लिए आप कुछ समय से प्रार्थना कर रहे हैं, और अब प्रार्थना बंद करने का सोच रहे हो? ऐसी कौन-सी प्रार्थनाएँ हैं जिनके बारे में आपने प्रार्थना करना बंद कर दिया है क्योंकि आपको प्रार्थना का उत्तर जल्दी नहीं मिला?
इस अंश से उत्साहित होएँ और लगातार माँगते रहें!
इस अंश में यीशु न केवल क्या प्रार्थना करना है (वचन 2-4) वो सीखा रहें हैं बल्कि कैसे प्रार्थना करना है उसके बारे में भी सीखा रहे हैं।
जो समय-सीमा हमारे मन में रहती है, यदि उस अवधि में हमें हमारी प्रार्थना का उत्तर नहीं मिलता, तो इस स्थिति में हम बहुत आसानी से हतोत्साहित हो जाते हैं। लेकिन परमेश्वर को हमारी समय-सीमा के अनुसार कार्य करने की आवश्यकता नहीं है!
किसी बात के लिए एक बार प्रार्थना करने के बाद, कितनी बार आप अपने आप को हारा हुआ पाते हो या प्रार्थना करना बंद कर देते हो? ऐसी कौन-सी प्रार्थनाएं हैं, जिनके लिए आप कुछ समय से प्रार्थना कर रहे हैं, और अब प्रार्थना बंद करने का सोच रहे हो? ऐसी कौन-सी प्रार्थनाएँ हैं जिनके बारे में आपने प्रार्थना करना बंद कर दिया है क्योंकि आपको प्रार्थना का उत्तर जल्दी नहीं मिला?
इस अंश से उत्साहित होएँ और लगातार माँगते रहें!
पवित्र शास्त्र
इस योजना के बारें में
यह पाठ योजना आपको यीशु द्वारा सुनाये दृष्टांतों में से लेकर जायेगी, जिससे आप यह जान सकोगे कि उसके कुछ महान उपदेश आपके लिए कितना महत्त्व रखतें हैं! बहुत से दिनों की यह पठन योजना पाठकों को चिंतन-मनन करने का समय देती है और ...
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We would like to thank Trinity New Life Church for this plan. For more information, please visit: http://www.trinitynewlife.com/